लोकसभा चुनाव में राज्य के 283 बूथ ऐसे हैं, जो शैडो एरिया में आते हैं। जिसकी वजह से वहां नेटवर्क नहीं है। इस कारण यहां या तो सेटेलाइट फोन से काम होगा या फिर रेडियो सेट से। राज्य में चार बूथ ऐसे भी हैं, जहां सूचनाओं के आदान-प्रदान के लिए लोगों की ड्यूटी लगाई गई है।यहां सेटेलाइट फोन भी काम नहीं करते। कोई भी सूचना को एक रनर बाइक या अन्य माध्यम से पोलिंग बूथ से लेकर दूसरे प्वाइंट तक जाएगा।
वहां से सूचना आगामी प्वाइंट तक जाएगी। इसी तरह सूचना उस स्थल तक पहुंच जाएगी, जहां से सूचना अन्य माध्यम से चुनाव आयोग तक पहुंच सकती हो। इनमें एक बूथ पौड़ी के लालढांग में, एक पिथौरागढ़ के कनार में और दो उत्तरकाशी में हैं।
मतदेय स्थल पर किसी भी तरह की घटना-दुर्घटना या अन्य सूचना के लिए इन्हीं माध्यमों का प्रयोग किया जाएगा। इन माध्यमों से ही इन पोलिंग बूथों पर होने वाले मतदान की जानकारी हर घंटे या हर दो घंटे में चुनाव आयोग तक पहुंचाई जाएगी। इन जिलों के डीएम-एसपी को भी सेटेलाइट फोन उपलब्ध कराए गए हैं।